सहायक व्यय प्रेक्षकों, लेखा टीम और व्यय अनुवीक्षण समिति को मिला प्रशिक्षण

छत्तीसगढ़ महासमुंद

महासमुन्द । लोकसभा चुनाव के लिए कलेक्टर व जिला निर्वाचन अधिकारी प्रभात मलिक के निर्देशानुसार जिले में नियुक्त सहायक व्यय प्रेक्षकों, लेखा टीम तथा व्यय अनुवीक्षण समिति को नोडल अधिकारी एवं जिला पंचायत सीईओ एस. आलोक के मार्गदर्शन में प्रशिक्षण प्रदान किया गया।

जिला मास्टर ट्रेनर तोषण गिरी गोस्वामी ने प्रशिक्षण देते हुए बताया कि लोकसभा निर्वाचन के लिए प्रत्येक उम्मीदवार अधिकतम 95 लाख रुपए की राशि खर्च कर सकता है। इससे अधिक राशि खर्च करने पर भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार निर्वाचन अपराध की श्रेणी में आएगा। इसके लिए लेखा टीम को समस्त उम्मीदवारों द्वारा किए गए व्ययों का लेखा-जोखा रखना होगा। जिसकी निगरानी सहायक व्यय प्रेक्षक द्वारा की जाएगी। जिले में गठित वीडियो निगरानी दल, वीडिया अवलोकन दल, स्थैतिक निगरानी दल, उड़नदस्ता दल आदि के माध्यम से उम्मीदवारों द्वारा किए जाने वाले व्ययों की जानकारी मिलेगी। इसके लिए उम्मीदवारों के प्रत्येक जनसभा, रैली आदि की निगरानी की जाएगी तथा इस पर होने वाले खर्चों का आकलन किया जाएगा तथा इसकी जानकारी लेखा टीम को दी जाएगी। जिसे साक्ष्यों के साथ लेखा टीम द्वारा प्रत्येक उम्मीदवार के छाया प्रेक्षण रजिस्टर में दर्ज करना होगा।

प्रत्येक उम्मीदवार को नामांकन दाखिल करने के कम से कम एक दिन पहले एक अलग बैंक खाता खोलना होगा। चुनाव प्रचार से संबंधित समस्त खर्चे उसी बैंक खाते से संचालित होंगे। उम्मीदवार द्वारा अधिकतम 10 हजार रुपए की राशि नगद व्यय की जा सकती है। इससे अधिक राशि का लेन-देन बैंक के माध्यम से किया जाएगा। नामांकन के समय उम्मीदवारों को व्यय लेखा रजिस्टर प्रदान किया जाएगा। जिसके पहले भाग में समस्त लेन-देन, दूसरे भाग में नगद लेन-देन तथा तीसरे भाग में बैंक संबंधी लेन-देन का ब्यौरा रखा जाएगा। मतदान वापसी के दिन से मतदान दिवस के बीच उम्मीदवार को कम से कम तीन बार लेखा टीम के पास उपस्थित होकर व्यय रजिस्टर की जांच करानी होगी। मतगणना के 30 दिवस के अंदर उम्मीदवार को अंतिम जांच के लिए प्रस्तुत होना होगा। इस प्रशिक्षण में प्रशिक्षण के नोडल अधिकारी नंदकिशोर सिन्हा तथा संबंधित अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित थे।