सूरजपुर । जिले के ओड़गी विकासखंड अंतर्गत ग्राम बेदमी में शुक्रवार की शाम घर के बाहर खेल रहे बालक पर तेंदुआ ने हमला कर दिया। बालक की चीख सुनकर मां बाहर निकली। उसने हिम्मत से काम लिया। डंडे से तेंदुआ पर प्रहार करना शुरू किया जिससे तेंदुआ तेजी से वहां से भाग निकला। बीच बस्ती में तेंदुआ के आ जाने से भय का माहौल बना रहा।
गांव वालों ने बताया कि गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान क्षेत्र में तेंदुआ सहित अन्य वन्य प्राणियों की उपस्थिति है। पिछले कुछ दिनों से एक तेंदुआ आबादी क्षेत्र के आसपास पहुंच रहा है शुक्रवार की शाम ग्राम वेदमी निवासी सुरेंद्र गुर्जर का पुत्र सौरभ गुर्जर (12) घर के बाहर खेल रहा था। इस दौरान तेंदुआ ने अचानक उस पर आक्रमण कर दिया। बालक ने चीखना शुरू किया।
आसपास के लोग जमा हो पाते, उसके पहले ही बालक की मां ने हौसला दिखाते हुए सूझबूझ से तेंदुआ पर डंडे से प्रहार किया। तब तक ग्रामीणों ने भी शोर ल मचाना शुरू कर दिया था। इस कारण तेंदुआ वहां से तेजी से भाग निकला। बताया जा रहा है कि बेदमी बस्ती में तेंदुआ प्रवेश कर गया था। चारों ओर घनी आबादी का क्षेत्र है।यहां से जंगल की दूरी लगभग दो किलोमीटर है।
पहले जंगल में ही मवेशियों का शिकार तेंदुआ द्वारा किया जाता था लेकिन इस बार बस्ती में बालक पर हमले की घटना से लोग भयभीत हैं। घायल बालक को तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ओड़गी में भर्ती कराया गया। यहां उसका उपचार किया जा रहा है। गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान क्षेत्र से अक्सर वन्य प्राणी आबादी क्षेत्र की ओर प्रवेश कर जाते हैं।
पिछले वर्ष एक बाघ राष्ट्रीय उद्यान क्षेत्र से बाहर निकाल कर आबादी क्षेत्र में प्रवेश कर गया था। दो ग्रामीणों पर हमला कर उसने मौत के घाट उतार दिया था। ग्रामीणों ने भी बाघ पर टांगी से प्राणघातक वार किया था। जख्मी हालत में बाघ को रेस्क्यू कर रायपुर ले जाया गया था। इस क्षेत्र में तेंदुआ के अलावा समय-समय पर बाघ की चहल कदमी भी होती रहती है। इन दिनों हाथियों का भी स्वच्छंद विचरण इलाके में हो रहा है। क्षेत्र के सेवाभावी युवा लवकेश गुर्जर ने बताया कि बेदमी में हुई घटना चिंताजनक है। यदि बालक की मां ने हिम्मत नहीं दिखाई होती तो अनहोनी हो सकती थी।