विज्ञान स्वयं में एक शक्ति नहीं वह मानव के हाथ में आकर शक्ति प्राप्त करता हैं – डॉ.गुप्ता

कोरबा छत्तीसगढ़

हर्ष और आनंद से परिपूर्ण जीवन केवल ज्ञान और विज्ञान के आधार पर संभव है- सीजीएम एसईसीएल दीपका

विज्ञान से मानव को मिली असीमित शक्ति- डीएफओ कटघोरा

आई.पी.एस दीपका में बच्चों ने बताया विज्ञान का रहस्य, साइंस एग्जीबिशन में दिखाया अपना हुनर

आई पी एस दीपका में आयोजित विज्ञान प्रदशर्नी में अनेक चलित मॉडलों का प्रदर्शन

दीपका- कोरबा I
ईंधन, सूचना, कंप्यूटर आदि ऐसे अनेक अनोखे साधन विज्ञान ने दिए हैं जिनसे जीवन सरल व संपन्न हो गया है। आज भोजन, आवास, यातायात, चिकित्सा, मनोरंजन, कृषि, उद्योग सभी विज्ञान से प्रभावित व विकसित हैं। विज्ञान की मदद से आज टीबी, कैंसर जैसे लाइलाज रोगों को दूर किया जा सकता हैं।
प्रकृति के क्रमबद्ध ज्ञान को विज्ञान कहा जाता है। विज्ञान वह व्यवस्थित ज्ञान या विद्या है जो विचार, अवलोकन, अध्ययन और प्रयोग से मिलती है, जो किसी अध्ययन के विषय की प्रकृति या सिद्धान्तों को जानने के लिए किये जाते हैं। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी में अभिरूचि पैदा करने एवं अपनी प्रतिभा प्रदर्शित करने विद्यालय स्तर पर विज्ञान प्रदशर्नी का आयोजन किया जाता है।
विज्ञान प्रदर्शनी एक ऐसा माध्यम है जिसमें बच्चे खुद से बनाए मॉडल य प्रतिरूप का प्रस्तुत करते हैं। इन प्रतिरूपों को बारिकी से समझकर उसका प्रयोग करते हैं।


दीपका स्थित इंडस पब्लिक स्कूल में ऐसे ही एक विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन किया गया। जिसमें कक्षा छठवीं से बारहवीं के बच्चों ने विज्ञान के विविध सिद्धांतों पर आधरित अनेक चलित मॉडलों को बनाकर प्रस्तुत किया।


सर्वप्रथम मुख्य अतिथि श्री अमित सक्सेना (सीजीएम सीसीएल दीपका) श्रीमती आभा सक्सैना( प्रेसिडेंट दीक्षा महिला मंडल दीपका),के साथ विशिष्ट अतिथि श्री कुमार निशांत (डीएफओ कटघोरा), के साथ ही श्री प्रहलाद मोदी (चार्टर्ड अकाउंटेंट)श्री कनक लश्करकर (विशेषज्ञ बायोलॉजी एंड केमिस्ट्री) श्री सपना मोदी (एजुकेशनिस्ट )एवं डॉक्टर संजय गुप्ता (प्राचार्य-आई0पी0एस0) के कर कमलों द्वारा रिबन काटकर विज्ञान प्रदर्शनी का उद्घाटन किया गया।गणमान्य अतिथियों के समक्ष बच्चों ने अपने हाथों से बनाए विज्ञान के चलित प्रतिरुपों का प्रस्तुतिकरण दिया।प्रतिरुपों में बच्चों द्वारा बनाए गए प्रोजेक्टर,मोटरबोट,हाइड्रोलिक क्रेन,पावर प्लांट,ज्वालामुखी, स्मार्ट सिटी प्लान,वाटर हार्वेस्टिंग पिट, एक्सट्रैक्शन ऑफ़ फ्यूल फ्रॉम वेस्ट प्लास्टिक, प्रोटेक्शन फॉर एसिड रेन, वर्किंग स्मार्ट डायलिसिस मशीन, सर्कुलेटरी सिस्टम इन ह्यूमन, मॉडल ऑफ़ एटम, होमो डायलिसिस वर्किंग मॉडल, स्मार्ट सीवेज ट्रीटमेंट, इरिगेशन सिस्टम, वर्किंग मॉडल ऑफ़ ह्यूमन आई, रोबोटिक टेक्नोलॉजी, न्यूक्लियर पावर प्लांट,आदि उल्लेखनीय रहे।


बच्चों के प्रस्तुतिकरण को देखने के पश्चात विज्ञान विषय पर बच्चों का दिशा निर्देशन करते हुए श्री अमित सक्सेना (सीजीएम सीसीएल दीपका) ने कहा कि विज्ञान हमारे ज्ञान का आधार है। हर सीखी हुई बात को प्रायोगिकता की कसौटी पर कसाकर लोगों को बताना ही विज्ञान है।विज्ञान एवं ज्ञान के आधार पर ही जीवन में हर्ष एवं आनंद संभव है। हमें विद्यालय में प्रत्येक तथ्य को स्वयं प्रयोग कर सीखने का प्रयत्न करना चाहिए ऐसा ज्ञान हमें आजीवन याद रहता है। तात्पर्य यह है कि हमें न सिर्फ पढ़ना है बल्कि पढ़कर समझना व सीखना भी है यही विज्ञान है।
श्री कुमार निशांत (डीएफओ कटघोरा ) ने अपने उद्बोधन में कहा कि विज्ञान ने मानव को असीमित शक्तियाँ प्रदान की है।इन शक्तियों का प्रयोग कर आज मानव ने अपने जीवन को सरल एवं सुखद बना दिया है। आज विज्ञान ने हमारा जीवन अत्यंत सरल बना दिया है। आज हमने चांद पर भी कम दो दो बार कदम रख दिया है ।हो सकता है आने वाले दिनों में हम चांद पर ही जाकर बस जाएं यह सब विज्ञान के कारण ही संभव हो सका है।
सभी विद्यार्थियों ने क्रमशः अतिथियों के द्वारा पूछे गए प्रत्येक प्रश्नों का उत्तर दिया एवं अपने द्वारा बनाए गए मॉडल की बेहतरीन व्याख्या दी ।अतिथियों के द्वारा पूछे गए प्रत्येक प्रश्नों का जवाब विद्यार्थियों ने पूरी संजीदगी एवं आत्मविश्वास के साथ दिया जिसे सुनकर अतिथि भी प्रसन्न हो गए।
इस विज्ञान प्रदर्शनी का सफल आयोजन विज्ञान के विभिन्न विषयों के विभाग अध्यक्ष श्री वीरेंद्र गुप्ता (फिजिक्स )श्री अजीत कुमार (केमिस्ट्री)एवं मिस पारुल (बायोलॉजी )के दिशा निर्देशन में किया गया जिसमें मिस सुमाना भूनिया ,श्री दीपक मलिक एवं श्री सुमित जैन, श्री देव गोपाल सामंता, श्री देवाशीष परीदा, मिस स्मृति साहू, मिस इशा राय चौधरी, श्रीमती दीपा कुर्रे, श्री सचिन लकड़ा, श्री योगेश शुक्ला, मिस जस्विता गढ़वाल, श्री राजू कौशिक सहित विद्यालय के कोऑर्डिनेटर श्री सब्यसाची सरकार एवं श्रीमती सोमा सरकार का अभिन्न योगदान रहा।साथ ही बच्चों की मेहनत ने इस आयोजन को सफलता के शिखर तक पहुँचाया।
विद्यालय प्राचार्य डॉक्टर संजय गुप्ता ने अपने प्रभावी उद्बोधन में कहा कि विज्ञान स्वयं में शक्ति नहीं है अपितु यह मानव के हाथ में विशिष्ट शक्ति को प्राप्त करती है।प्रकृति एवं मनुष्य दोनों की ताकत का समसयोजन ही विज्ञान है। यदि विज्ञान नहीं होता तो आज हमारा जीवन कैसा होता इसकी हम सहज कल्पना कर सकते हैं। जो आपके जीवन को सरल कर दे जो आपके काम को सरल कर दे सही मायने में वही विज्ञान है विज्ञान अर्थात विशेष ज्ञान।आज मनुष्य विज्ञान के कारण ही चंद्रमा तथा अन्य ग्रहों में पहुंचने तथा अंतरिक्ष में भ्रमण करने में सफलता प्राप्त की है। बिना विज्ञान के इसकी कल्पना भी नहीं की जा सकती थी। डॉक्टर संजय गुप्ता ने विद्यालय में विज्ञान प्रदर्शनी के सफल आयोजन पर सभी बच्चों एवं शिक्षक-शिक्षिकाओं को हार्दिक बधाई दी।