प्राणप्रतिष्ठा के दौरान अयोध्या में सुरक्षा के लिए तैनात रहेंगे 30 हजार जवान

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अयोध्या । सुरक्षा एजेंसियां 22 जनवरी को लेकर सतर्क हैं। स्टेट एजेंसियों के अलावा केंद्र की एजेंसियों ने भी जिले में कैंप किया है। 15 टीमें विभिन्न इलाकों में छानबीन करके इनपुट तलाश रही हैं। वहीं, श्रीराम मंदिर की सुरक्षा का जिम्मा कमांडो के हवाले किया गया है। रामनगरी में लगभग 30,000 जवान तैनात किए जा रहे हैं।

अयोध्या के आईजी प्रवीण कुमार ने बताया कि भीड़ में अराजकता फैलाने वाले लोग अभी से चिह्नित किए जा रहे हैं। खुफिया के साथ ही आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस से निगरानी की व्यवस्था की जा रही है। प्राण प्रतिष्ठा को लेकर जिले में आईबी, एलआईयू, एटीएस, एसटीएफ, मिलिट्री इंटेलिजेंस समेत सात सुरक्षा एजेंसियों ने प्रधानमंत्री के आगमन से पूर्व ही कैंप किया है। खुफिया जानकारी जुटा रही टीमों में एक डिप्टी एसपी, एक निरीक्षक व छह-छह सिपाही लगे हैं। इन्हें मोबाइल ट्रैकिंग सिस्टम समेत तमाम आधुनिक उपकरणों से लैस किया गया है। अयोध्या में होने वाली तमाम संभावित गतिविधियों पर उनकी नजर है। फिदाइन हमले रोकने के लिए मंदिर के आसपास क्रैश रेटेड बोलार्ड लगाए जा रहे हैं। सीसीटीवी कैमरों से आसपास के इलाकों की निगरानी होगी।

हवाई अड्डे पर तैनात जवान आतंकी खतरों से निपटने में सक्षम
महर्षि वाल्मीकि अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा की सुरक्षा उत्तर प्रदेश विशेष सुरक्षा बल की छठवीं वाहिनी को सौंपी गई है। ये जवान आतंकी खतरों से निपटने की क्षमता रखते हैं। यहां तीन इंस्पेक्टर, 55 उप निरीक्षक, 22 मुख्य आरक्षी और 194 आरक्षी लगाए गए हैं। सुरक्षा बलों की कुल संख्या 294 है। इन्हें वॉच टावर के साथ सभी महत्वपूर्ण स्थानों पर तैनात किया गया है। स्क्रीन के जरिये पूरे एयरपोर्ट की सुरक्षा की सतत निगरानी शुरू कर दी गई। यूपीएसएसएफ के मीडिया प्रभारी विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि तैनाती के पहले जवानों को अपर पुलिस महानिदेशक एलवी एंटनी देव कुमार ने सुरक्षा के अहम बिंदु समझाए। इन्हें तीन माह का विशेष प्रशिक्षण प्राप्त है। यूपी एटीएस से आधुनिक हथियारों को चलाने का और यूपीएसडीआरएफ से आपदा से निपटने के लिए विशेष प्रशिक्षण दिया गया है। एयरपोर्ट की सुरक्षा के लिए पांच दिन का इंडक्शन कोर्स, 14 दिन का बेसिक कोर्स, पांच दिन का ऑन जॉब ट्रेनिंग, पांच दिवस का स्क्रीनर्स से संबंधित विशेष प्रशिक्षण भी मिला है।

अलग-अलग सेक्टरों में बांटा
एसपी सिटी मधुबन सिंह ने बताया कि रामनगरी को सेक्टरों में बांटा गया है। इसके लिए लगभग 100 डिप्टी एसपी, 300 निरीक्षक, 800 उपनिरीक्षक व 4500 मुख्य आरक्षी/आरक्षी की मांग की गई है। 20 कंपनी पीएसी भी तैनात रहेगी।

रामलला की प्राण प्रतिष्ठा को लेकर खुफिया और सुरक्षा एजेंसियों ने सुरक्षा का ब्लू प्रिंट तैयार कर लिया है। पुलिस के रडार पर रहने वाले लोगों को इस दौरान अयोध्या में घुसने नहीं दिया जाएगा। पुलिस ने मय फोटो इनका डाटाबेस तैयार कर लिया है। इनकी गतिविधियों पर अभी से नजर रखी जा रही है। श्रीराम मंदिर की सुरक्षा को पहले से अब और चुस्त किया जा रहा है।

रामलला की प्राण प्रतिष्ठा समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सहित देशभर के विशिष्टजन शामिल होंगे। इसके बाद अयोध्या में बेहिसाब भीड़ उमड़ेगी। समारोह के दौरान सुरक्षा पर सरकार का फोकस है। सूत्रों के मुताबिक, पुलिस की नजर ऐसे खुराफातियों पर है जो भीड़ का लाभ उठाकर गड़बड़ कर सकते हैं। आसपास के जिलों के साथ ही प्रदेश भर से ऐसे लोगों की पहचान करके पूरी कुंडली पुलिस ने मंगवा ली है। अब रणनीति यह है कि ऐसे लोगों को अयोध्या में घुसने न दिया जाए। यहां आने का प्रयास किया तो धर दबोचे जाएंगे। समारोह के दौरान सुरक्षा के लिए आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस का उपयोग किया जाएगा।

दो दिन नहीं गुरजेंगे भारी वाहन
21 और 22 जनवरी को भारी वाहन इधर से नहीं जाएंगे। छोटे वाहनों के लिए अलग से व्यवस्था होगी। आमंत्रित अतिथियों के लिए बेहतर व्यवस्था रहेगी। पार्किंग स्थलों पर कैमरे लगाए जा रहे हैं। राम मंदिर की सुरक्षा का नया प्लान लागू किया जा रहा है। बिना अनुमति इस क्षेत्र में ड्रोन नहीं उड़ाए जा सकेंगे। श्रद्धालुओं से बेहतर व्यवहार के लिए पुलिस कर्मियों को प्रशिक्षण दिया गया है।